जाने चिन का झुठ आखिर क्यु चिन चश छुपा रहा हैं,कया करना चाहता है चीन , कया है उसकी रणनिती
कोरोना वायरस के चलते कूटनीतिक तनाव की ये इकलौती मिसाल नहीं है. भले ही चीन पर ये आरोप लग रहे हैं कि उसने कोरोना वायरस के मरीज़ों की संख्या छुपाई है, फिर भी,कोविड-19 से जुड़े हर कूटनीतिक संघर्ष का ताल्लुक़ चीन से हो ये भी ज़रूरी नहीं.
लंदन स्कूल ऑफ़ इकोनॉमिक्स के इंस्टिट्यूट ऑफ़ ग्लोबल अफ़ेयर्स की सोफिया गैस्टन ने बीबीसी से कहा, "इस महामारी के वक़्त तमाम देशों से ये उम्मीद थी कि वो इसे साझा चुनौती मान कर आपस में सहयोग करेंगे, ताकि इस संकट का मुक़ाबला कर सकें. पर, हो ये रहा है कि तमाम देश अपने निजी हितों को तरज़ीह दे रहे हैं और सहयोग के बजाय एक दूसरे से होड़ में लग गए हैं."
इस बात की एक मिसाल यूरोपीय देशों की एकता में पड़ी दरार भी है. जब इटली में कोविड-19 के संक्रमण के मामले तेज़ी से बढ़े, तो इटली ने अपने पड़ोसी देशों से अपील की कि वो मेडिकल संसाधन मुहैया कराने में उसकी मदद करें. लेकिन, इटली के दो बड़े पड़ोसियों जर्मनी और फ्रांस ने अपने यहां से ऐसे उत्पादनों के निर्यात पर पाबंदी लगा दी.
यूरोपीय यूनियन के मुख्यालय ब्रसेल्स में इटली के राजदूत मॉरिज़ियो मसारी ने पॉलिटिको नाम की वेबसाइट में लिखा, "निश्चित रूप से ये यूरोपीय एकता के लिए शुभ संकेत नहीं हैं."
इटली के लोगों को जर्मनी की एक और करतूत से नाख़ुशी हुई है. एक प्रस्ताव आया था कि कोरोना वायरस की महामारी से सबसे अधिक प्रभावित देशों की मदद के लिए चंदा जुटा कर एक फंड बनाया जाए. लेकिन, जर्मनी इसका विरोध करने वाले देशों में शामिल हो गया.
जर्मनी के अलावा नीदरलैंड, ऑस्ट्रिया और फ़िनलैंड ने भी कोविड-19 प्रभावित देशों की मदद के लिए फंड जुटाने के इस प्रस्ताव का खुल कर विरोध किया था. जबकि, स्पेन, फ्रांस, बेल्जियम, यूनान, आयरलैंड, पुर्तगाल, स्लोवेनिया और लक्ज़मबर्ग ने इस प्रस्ताव का समर्थन किया था.
हाइलाइट्स:
- >. कोरोना वायरस को लेकर ट्विटर पर जोरदार बहस का सिलसिला जारी है
- >. बहस चीन पर केंद्रित हो गया है और उस पर झूठ बोलने के आरोप लगाए जा रहे हैं
- >. कई लोगों का मानना है कि चीन ने वायरस को लेकर सूचना छुपाई जिससे लोग मर रहे हैं
- >. कई ऐसे भी हैं जिनका मानना है कि चीन ने अपने यहां मरने वालों की संख्या छुपाई है
चीन ने भारत भेजी गईं PPE किट्स में शिकायत सामने आने के बाद सफाई दी। उसने कहा कि हर देश को सामान आयात करने से पहले चीन की कंपनियों के सर्टिफिकेशन और सामान का स्टैंडर्ड चेक जरूर करना चाहिए।
भारत समेत कई देशों से शिकायतें
दरअसल, 5 अप्रैल तक भारत में चीन से करीब 1.70 लाख PPE किट्स की सप्लाई आई थी, जिनमें से 50 हजार किट्स क्वॉलिटी टेस्ट में खरे नहीं उतरे थे। सूत्र ने बताया, '30 हजार और 10 हजार PPE किट्स के दो छोटे कंसाइनमेंट्स भी टेस्ट में पास नहीं हो पाए।' इससे पहले स्पेन और नीदरलैंड्स जैसे देशों में
गए चीनी प्रॉडक्ट्स भी क्वॉलिटी पर खरा नहीं उतर पाए थे। चीन को अपना सदाबहार दोस्त मानने वाले पाकिस्तान को चीनी कंपनियों से सबसे बड़ा झटका लगा। उसे चीन ने अंडरवेयर से बने मास्क भेज दिए थे।
दरअसल, 5 अप्रैल तक भारत में चीन से करीब 1.70 लाख PPE किट्स की सप्लाई आई थी, जिनमें से 50 हजार किट्स क्वॉलिटी टेस्ट में खरे नहीं उतरे थे। सूत्र ने बताया, '30 हजार और 10 हजार PPE किट्स के दो छोटे कंसाइनमेंट्स भी टेस्ट में पास नहीं हो पाए।' इससे पहले स्पेन और नीदरलैंड्स जैसे देशों में
- दुनिया भर में कोरोना वायरस से 22 लाख 40 हज़ार से ज़्यादा संक्रमित, अब तक 1 लाख 54 हज़ार से ज़्यादा मौतें
- अमरीका में संक्रमित मरीज़ों की संख्या 7 लाख के पार पहुंची, अब तक 36,800 से ज़्यादा लोगों की मौत
- इटली में अब तक 22,745 मौतें, स्पेन में भी मरने वालों की संख्या 20 हज़ार के पार पहुंची
- भारत में संक्रमण के कुल मामले 13,835 तक पहुंचे, अब तक 452 मौतें
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